भारत-बांग्लादेश सीमा पर BSF द्वारा पकड़े गए दो बांग्लादेशी नागरिक, बीजीबी को सौंप दिया गया

नई दिल्ली। भारत-बांग्लादेश सीमा पर तैनात उत्तर बंगाल फ्रंटियर, सीमा सुरक्षा बल (BSF) की कड़ी चौकसी देशवासियों को निश्चिंत रखती है। सुरक्षाबलों द्वारा हर पहर निगरानी का ही परिणाम है कि देश की सीमाएं सुरक्षित रहती हैं। सच ही कहा गया है कि यदि देश के जवान सीमा पर खड़े हैं तो कोई परिंदा भी बिना उनकी इजाजत के पर नहीं मार सकता। पश्चिम बंगाल में भारत-बांग्लादेश सीमा पर अनजाने में अंतरराष्ट्रीय सीमा पार कर रहे दो बांग्लादेशी नागरिकों को,‌ सोमवार को उत्तर बंगाल फ्रंटियर, सीमा सुरक्षा बल ( बीएसएफ ) द्वारा पकड़ लिया गया है, जिन्हें बाद में सद्भावना के रूप में बार्डर गार्ड बांग्लादेश (बीजीबी) को सौंप दिया गया। बीएसएफ द्वारा सोमवार को जारी किए गए एक बयान में कहा गया है कि उत्तर बंगाल फ्रंटियर बीएसएफ के महानिरीक्षक अजय सिंह के गतिशील नेतृत्व में कड़ी चौकसी बरती जा रही है। पश्चिम बंगाल में भारत-बांग्लादेश सीमा पर तैनात उत्तर बंगाल फ्रंटियर बीएसएफ बटालियन की टुकड़ियां तस्करी और घुसपैठियों पर नजर रखे हुए है। बयान में कहा गया कि नापाक मंसूबों को अंजाम देने के लिए राष्ट्र विरोधी तत्वों के किसी भी प्रयास को विफल करने के लिए सुरक्षा बल सीमा पर सतर्कता बरत रहे हैं।

सुरक्षाबलों द्वारा कड़ी निगरानी के दौरान 16 जनवरी 2022 को, पश्चिम बंगाल के दक्षिण दिनाजपुर जिले में भारत-बांग्लादेश सीमा पर तैनात बीओपी हिली- I, 61 बीएन बीएसएफ की टुकड़ियों ने दो बांग्लादेशी नागरिकों को अंतरराष्ट्रीय सीमा को पार करते हुए पकड़ा था। मोहम्मद रिफत हसन (13 वर्ष) और मोहम्मद रूहल अमीन (14 साल), दोनों व्यक्ति बांग्लादेश के दिनाजपुर जिले के रहने वाले हैं। बीएसएफ ने कहा जब इन दोनों नागरिकों को पकड़ा गया तो पूछताछ के दौरान पता चला कि उन्होंने अनजाने में अंतरराष्ट्रीय सीमा को पार कर दिया था। जांच पड़ताल करने के बाद, सीमा सुरक्षा बल ने बार्डर गार्ड बांग्लादेश से संपर्क किया और एक फ्लैग मीटिंग में पकड़े गए बांग्लादेशी नागरिकों को सद्भावना के रूप में उन्हें सौंप दिया।

आपको बता दें कि यह पहली बार नहीं है जब किसी नागरिक ने अनजाने में अंतरराष्ट्रीय सीमा को पार कर दिया है। पिछले एक साल के दौरान, कुल 29 बांग्लादेशी नागरिकों ने अनजाने में उत्तर बंगाल फ्रंटियर के विभिन्न सीमावर्ती क्षेत्रों से अंतर्राष्ट्रीय सीमा को पार किया है, जिन्हें सद्भावना के रूप में बार्डर गार्ड बांग्लादेश को सौंप दिया गया।