धन्नीपुर में बनेगी अयोध्या मस्जिद, एडीए से नक्शे को नही मिली मंजूरी

लखनऊ। सुप्रीम कोर्ट ने 9 नवंबर 2019 को विवादित जगह पर राम मंदिर निर्माण का आदेश दिया था और इसी साथ ही मस्जिद के निर्माण के लिए यूपी सरकार को 5 एकड़ जमीन आवंटित करने के लिए भी कहा था। इसके बाद करीब 8 महीने के खोज के बाद मस्जिद के लिए अयोध्या से लखनऊ राष्ट्रीय राजमार्ग से 250 मीटर दूर सोहावल तहसील के धन्नीपुर गांव में जिला प्रशासन ने सुन्नी वक्फ बोर्ड को जमीन का आवंटन कर दिया। जानकारी के मुताबिक इंडो इस्लामिक कल्चरल फाउंडेशन द्वारा बनाई जा रही इस मस्जिद का नाम अयोध्या मस्जिद हो सकता है।

फाउंडेशन के सदस्य अरशद अफजाल का कहना है कि कई लोगों ने इस नाम का सुझाव दिया है, जिस पर ट्रस्ट की आगामी बैठक में निर्णय होगा। यह बेहतर सुझाव है और पूरी संभावना है कि अयोध्या में बनने वाली मस्जिद का नाम अयोध्या मस्जिद ही रख दिया जाए। भूमि आवंटन के बाद मई 2021 में इंडो इस्लामिक कल्चरल फाउंडेशन ने मस्जिद के मानचित्र को स्वीकृति के लिए आवेदन किया था लेकिन अयोध्या विकास प्राधिकरण से एनओसी के अभाव में 15 महीने बाद भी इसको मंजूरी नहीं मिल सकी है। 

इसको लेकर जुलाई 2022 में फाउंडेशन के चेयरमैन जुफर फारूकी, सचिव अतहर हुसैन, स्थानीय ट्रस्टी अरशद अफजाल के साथ विकास प्राधिकरण गए थे। प्राधिकरण के उपाध्यक्ष विशाल सिंह से मुलाकात के बाद भारतीय विमान पत्तन प्राधिकरण, अग्निशमन, सिंचाई विभाग, प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड, जिला प्रशासन के साथ नगर निगम को पत्र भेजा गया और एनओसी मांगी गई। फाउंडेशन के ट्रस्टी अरशद अफजाल खान का कहना है कि डेढ़ माह बीत गए लेकिन अभी तक न तो प्राधिकरण को किसी विभाग से एनओसी मिली है और न ही एनआोसी के संदर्भ में किसी विभाग ने स्थलीय निरीक्षण की जरूरत समझी है।

प्राधिकरण के उपाध्यक्ष विशाल सिंह का कहना है कि एनओसी न मिल पाने के कारण मस्जिद का मानचित्र स्वीकृत नहीं हो पाया है। प्राधिकरण की तरफ से कोई देर नहीं हो रही है। इंडो इस्लामिक कल्चरल फाउंडेशन के सदस्यों ने जब उनसे मुलाकात की थी, तब भी उन्होंने यह बात बताई थी। प्राधिकरण ने संबंधित विभागों को पत्र भी भेजा था। उन्होंने कहा कि जल्द ही एनओसी मिल जाएगी और मस्जिद के नक्शे को स्वीकृति मिल जाएगी। अग्नि शमन विभाग को इस बात को लेकर एतराज है कि लखनऊ-गोरखपुर हाईवे से 250 मीटर दूर मस्जिद तक पहुंचने के लिए रास्ता छह मीटर ही चौड़ा है। 

विभाग ऐसी इमारत के लिए तभी स्वीकृति दे सकता है, जब वहां रास्ता 12 मीटर चौड़ा हो, भविष्य में सड़क चौड़ा करने की शर्त पर अग्नि शमन विभाग एनओसी दे रहा है।यूपी सरकार से मिली जमीन पर मस्जिद के अलावा 2 हजार नमाजियों के लिए सभागार, 300 बेड का चौरिटेबल हॉस्पिटल, एक हजार लोगों की क्षमता वाला शाकाहारी सामुदायिक भोजनालय और मौलवी अहमद उल्ला शाह के नाम से एक रिसर्च सेंटर भी प्रारंभ होगा। छायादार वृक्ष भी चारों ओर लगाए जाएंगे।