याचिकाकर्ता विष्णुदत्त सैनी व अन्य का पक्ष रख रहे अधिवक्ता विज्ञान शाह ने बताया कि आरपीएससी ने वेटरिनेरी ऑफिसर के 900 पदों के लिए नोटिफिकेशन जारी किया था जिसमें 40 फीसदी अंक लिखित परीक्षा के, 20 फीसदी अंक अकादमिक और 40 फीसदी अंक इंटरव्यू के जोड़कर मेरिट बनाने का प्रावधान था।
आयोग ने सिर्फ लिखित परीक्षा के प्राप्तांकों के आधार पर ही इंटरव्यू के लिए बुला लिया। ऐसा करने से भर्ती नियमों व विज्ञापन की शर्तों का उल्लंघन हुआ। आरपीएससी को अभ्यर्थियों की लिखित परीक्षा व उनकी एकेडमिक योग्यता में प्राप्त अंकों के आधार पर इंटरव्यू के लिए छंटनी करनी थी।